Nbcindia24/बालोद। जल, वायु और पर्यावरण प्रदूषण बन गई समस्या, हो जाए सतर्क, अन्यथा भुगतेगे गंभीर परिणाम देवरीबंगला / शुक्रवार को हाई स्कूल भंडेरा में पंच एवं सरपंचों की गैर आवासीय दो दिवसीय जलवायु परिवर्तन पर कार्यशाला प्रारंभ हुई। कार्यशाला का शुभारंभ सरपंच खेमीन ढाले, पुष्पा साहू एवं भावना नायक ने किया। कार्यशाला में स्वस्थ पंचायत समन्वयक अनीता रामटेके ने बताया की जलवायु परिवर्तन से पर्यावरण प्रदूषण बढा है। इससे हमारे स्वास्थ्य, कृषि और आमदनी पर विपरीत प्रभाव पङ रहा है। अंधाधुंध औद्योगिकीकरण से नदी नाले प्रदूषित हुए हैं। प्लास्टिक मैटेरियल एवं मैडिकल वेस्ट भी खतरनाक है। मास्टर ट्रेनर केशव शर्मा ने बताया कि हमारे नदी, नाले, तालाब, कृषि भूमि, गांव प्रदूषित हो रहे हैं। रासायनिक खाद व कीटनाशक दवाइयां से खेत, अंधाधुंध कटाई से जंगल तथा प्लास्टिक से गांव पर पर्यावरण का सीधा प्रभाव पड़ रहा है।

मितानिन प्रशिक्षक ललिता यादव ने बताया कि पर्यावरण प्रदूषण को रोकने पंचायत प्रतिनिधि तथा समुदाय की महत्वपूर्ण भूमिका हो सकती है। प्रतिनिधियों को कार्य योजना बनाकर इस पर काम करना होगा। पंचायत प्रतिनिधियों की कार्यशाला में ग्राम पंचायत परसाडीह (सु), भंडेरा, फरदफोङ एवं मुड़िया के पंच सरपंच उपस्थित हुए। इसी प्रकार का प्रशिक्षण संबलपुर में आयोजित किया गया जिसमें स्वस्थ पंचायत समन्वयक नैन साहू ने धनगांव, कसही एवं संबलपुर के पंचायत प्रतिनिधि को प्रशिक्षण दिया।
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